WhatsApp When will India attack Pakistan? लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा ने सैन्य कार्रवाई की संभावना पर बात की

When will India attack Pakistan? लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा ने सैन्य कार्रवाई की संभावना पर बात की

Sanju Rajput
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भारत-पाकिस्तान के बीच हाल के तनाव, विशेष रूप से 22 अप्रैल 2025 को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद, ने सैन्य कार्रवाई की संभावनाओं को लेकर चर्चा तेज कर दी है। लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) डीएस हुडा, जो 2016 की सर्जिकल स्ट्राइक के सूत्रधार थे, ने इस मुद्दे पर अपनी राय व्यक्त की है। 


 हुडा ने कहा कि भारत के पास पाकिस्तान के खिलाफ सैन्य कार्रवाई के अलावा अन्य विकल्प सीमित हैं, क्योंकि कूटनीति प्रभावी नहीं रही और आर्थिक दबाव या अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता का ज्यादा असर नहीं हुआ है। उन्होंने पहलगाम हमले को पाकिस्तान की ओर से जानबूझकर उकसावे और बेताबी का कदम बताया, क्योंकि पाकिस्तानी सेना आंतरिक दबावों, जैसे बलूचिस्तान में अशांति, से जूझ रही है। 

 हालांकि, हुडा ने यह भी जोर दिया कि सैन्य कार्रवाई, यदि होती है, तो वह सीमित दायरे और पैमाने की होगी, ताकि पूर्ण युद्ध से बचा जा सके। उन्होंने कहा, "पाकिस्तान को यह संदेश देना है कि उनकी हरकतों की कीमत चुकानी पड़ेगी।" उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि भारत को जल्दबाजी में कार्रवाई करने के बजाय रणनीतिक समय का इंतजार करना चाहिए, ताकि सफलता सुनिश्चित हो।

 पाकिस्तान के सूचना मंत्री अत्ताउल्लाह तारार ने 30 अप्रैल 2025 को दावा किया कि उनके पास "विश्वसनीय खुफिया जानकारी" है कि भारत अगले 24-36 घंटों में सैन्य कार्रवाई कर सकता है। हालांकि, भारत ने इस दावे पर कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं की है। हुडा ने इस संदर्भ में कहा कि भारत को शांत रहकर स्थिति का आकलन करना चाहिए और पाकिस्तान की अपेक्षाओं के अनुसार समय-सीमा में कार्रवाई से बचना चाहिए। 
 क्या भारत हमला करेगा और कब? इस सवाल का जवाब देते हुए हुडा ने स्पष्ट किया कि यह सरकार और सैन्य नेतृत्व का फैसला है। उन्होंने कहा, "यह जरूरी नहीं कि कार्रवाई तुरंत हो। यह तब होनी चाहिए जब हमें लगे कि हमारा उद्देश्य पूरा होगा और सफलता मिलेगी।" उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान का "परमाणु ब्लैकमेल" अब उतना प्रभावी नहीं रहा, और भारत के पास सैन्य कार्रवाई के जरिए लागत थोपने की गुंजाइश है। 

 निष्कर्ष: कोई निश्चित समय-सीमा नहीं दी जा सकती कि भारत कब सैन्य कार्रवाई करेगा। हुडा के अनुसार, यदि कार्रवाई होती है, तो वह रणनीतिक, सीमित और सुनियोजित होगी, लेकिन यह सरकार के विवेक और परिस्थितियों पर निर्भर करता है।
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